भारतीय ऑटोमोबाइल सेक्टर में बड़ी बढ़त का सामना किया जा रहा है. यहां टू-व्हीलर से लेकर कार, बस और ट्रक जैसे यातायात वाहनों की मांग में तेजी से वृद्धि हो रही है. वित्त वर्ष 2023-24 में यात्री वाहनों की थोक बिक्री में 8.4 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है, जिससे इसकी कुल बिक्री 42,18,746 इकाई हो गई है. सियाम के अनुसार, दोपहिया वाहनों की बिक्री में भी वृद्धि देखने को मिली है. इसमें पिछले वित्त वर्ष की तुलना में 13.3 प्रतिशत की वृद्धि हुई है और कुल 1,79,74,365 इकाई बिक्री हुई है.
मोटर वाहनों की खुदरा बिक्री में भी 10 प्रतिशत की वृद्धि देखने को मिली है. इसमें भी दोहरे अंक की वृद्धि दर्ज की गई है. डीलरों के संगठन फाडा ने बताया कि पिछले वित्त वर्ष में मोटर वाहनों की बिक्री 2,45,30,334 इकाई हो गई है. इसके साथ ही, यहां जानकारी के अनुसार, वाहन बिक्री में मार्च 2023 में कुछ कमी आई थी, लेकिन अप्रैल में दोबारा वृद्धि की गई है.
also read: ज़ख्मी जवान को 4 घंटे में लद्दाख से दिल्ली लाकर डॉक्टरों ने जोड़ा कटा हाथ
ऑटोमोबाइल सेक्टर: बढ़ती मांग और उत्पादकों की प्रतिस्पर्धा
ऑटोमोबाइल सेक्टर में इस तेजी से वृद्धि के पीछे कई कारक हैं. एक मुख्य कारक बाजार में नए तकनीकी अद्यतन और उन्नत डिजाइन के वाहनों की मांग बढ़ना है. साथ ही, लोगों की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए उत्पादों की बेहतर सेवा और प्रदर्शन को बढ़ावा दिया जा रहा है. इससे उत्पादकों को बाजार में अधिक प्रतिस्पर्धी बनाने का भी अवसर मिल रहा है. इस समय, ऑटोमोबाइल सेक्टर की यह बढ़त देश की अर्थव्यवस्था के लिए भी अच्छी खबर है. यह नौकरियों का संचार कर रहा है और यह उत्पादन के क्षेत्र में भी एक महत्वपूर्ण योगदान प्रदान कर रहा है.
also read: दिल्ली CM के निजी सचिव को विजिलेंस विभाग ने किया टर्मिनेट
More Stories
कमल हासन: 19 फिल्मफेयर, 4 नेशनल, पद्मश्री और पद्मभूषण अवॉर्ड भी नहीं रोक पाए विरोध की आंधी, अब क्यों जल रहे हैं इस सुपरस्टार के पुतले?
गोवा में टैक्सी संकट: चालकों का विरोध तेज, सरकार ने सरकारी ऐप से जुड़ने की अपील की
Prey Decline Fuels Tiger-Human Conflict in East India